5 दिसम्बर को सुखदेव सिंह गोगामेड़ी हत्याकांड मामले में आखिरकार 5 दिन बार पुलिस को बड़ी सफलता मिली है, पुलिस ने घटना के दोनों मुख्य आरोपी शूटर्स को जहां गिरफ्तार कर लिया है तो वहीं घटना के अन्य आरोपियों को भी गिरफ्तारी में बड़ी सफलता मिली है, गौरतलब है की 5 दिसम्बर को सुखदेव सिंह गोगामेड़ी के श्याम नगर सोड़ाला स्थित आवास पर दो आरोपियों ने सुखदेव सिंह गोगामेड़ी के 9 गोलियां मारकर हत्या की थी.
पुलिस आयुक्त बीजू जॉर्ज जोसेफ ने बताया कि सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या करने वाले दो शूटर्स नितिन फौजी पुत्र कृष्ण कुमार जाति जाट उम्र 23 साल निवासी गांव दोगड़ा जाट थाना कनीना, जिला महेन्द्रगढ़ हरियाणा हाल लेस नायक 19 जाट रेजिमेन्ट अलवर, रोहित सिंह राठौड़ पुत्र स्व. गिरधारी सिंह राठौड़ निवासी जुसरी, पुलिस थाना मकराना, नागौर हाल 11 सुन्दर नगर झोटवाड़ा जयपुर एवं एक अन्य साथी उदम सिंह पुत्र राजकुमार सैन निवासी वार्ड नम्बर सातरोद कला हिसार है, को होटल कमल पैलेस, सेक्टर 22ए, चडीगढ़ से दस्तयाब किया गया है, जिनको बाद पूछताछ पुलिस थाना श्याम नगर द्वारा गिरफ्तार कर लिया गया
बीजू जॉर्ज जोसेफ ने बताया कि भवानी सिंह उर्फ रोनी निवासी पहाड़वास जिला महेन्द्रगढ़, राहुल कोथल निवासी कोथल खुर्द जिला महेन्द्रगढ़ व नितिन फौजी निवासी गांव दोगड़ा जाट जिला महेन्द्रगढ़ आपस में मित्र है, 7 नवम्बर को नितिन फौजी दो दिन का छुट्टी पर गांव आया था, भवानी सिंह उर्फ रोनी के केसवार अनुपम सोनी निवासी खुढाणा जिला महेन्द्रगढ़ के बीच विवाद चल रहा था, उस विवाद को सुलझाने के लिए उक्त तीनों अन्य साथियों के साथ गाँव खुडाणा पहुँचे. परन्तु अनुपम सोनी पक्ष से झगड़ा होने के कारण पुलिस आ गई, इस पर भवानी सिंह उर्फ रोनी अपने साथियों के साथ वहां से भागते समय पुलिस पार्टी पर फायरिंग कर दी, जिसके संबंध में थाना सदर महेन्द्रगढ़ पर मुकदमा दर्ज हुआ, इस मुकदमे में गिरफ्तारी से बचने के लिए नितिन फौजी, राहुल कौशल 10 नवम्बर को हिसार पहुँच गये, 5-6 दिन बाद में भवानी सिंह उर्फ रोनी भी इनके पास हिसार आ गया। इनके रूकने की व्यवस्था उदम नाई निवासी हिसार ने की
भवानी सिंह उर्फ रोनी पूर्व से रोहित गोदारा व विरेन्द्र चारण के सम्पर्क में था, भवानी सिंह उर्फ रोनी ने रोहित गोदारा व विरेन्द्र चारण से नितिन फौजी की मोबाईल पर बात करवाई और उसे जयपुर में एक व्यक्ति को मारने के लिए तैयार किया गया, भवानी सिंह उर्फ रोनी ने दिनांक 28 नवम्बर को नितिन फौजी को टैक्सी से जयपुर भिजवाया, नितिन फौजी को रुकने के स्थान, हथियार व वाहन उपलब्ध करवाने वाले व्यक्ति को दो दिन पूर्व ही चिह्नित कर लिया गया है, इस संबंध में पृथक से अनुसंधान जारी है, 5 दिसम्बर को नितिन फौजी अजमेर रोड़ पर रोहित राठौड़ से मिला, इन दोनों को नवीन शेखावत स्कॉर्पियो में बैठाकर यहाँ से सुखदेव सिंह गोगामेड़ी के मकान पर ले गया, बैठक में बातचीत के दौरान दोनों स्टार्स ने अंधाधुंध फायरिंग कर सुखदेव सिंह गोगामेड़ी व नवीन सिंह शेखावत की हत्या कर दी तथा तीसरे व्यक्ति अजीत सिंह को घायल कर दिया, नितिन फौजी के पास एक जिगाना पिस्टल व एक मैग्जीन थी जिसमे 20 राउण्ड थे, इसके अलावा दूसरी पिस्टल 30 व उसकी एक मैग्जीन जिसमें 15 राउण्ड थे, शूटर रोहित राठौड़ के पास एक पिस्टल व उसकी एक मैग्जीन जिसमें 13 राउण्ड थे,
घटना के बाद दोनों की शूटर्स स्कूटी, ऑटो से अजमेर रोड़ पहुँचे जहाँ से राजस्थान रोडवेज की बस से डिडवाना पहुँचे, डिडवाना से एक टैक्सी लेकर सुजानगढ़ पहुंच, सुजानगढ़ से वॉल्वो बस से धारूहेड़ा पहुँचे, धारूहेड़ा से ऑटो लेकर रेवाड़ी पहुँचे, रेवाड़ी से रेल से करीब 4:40 बजे रवाना होकर हिसार पहुँचे, फिर उदम सिंह निवासी हिसार के साथ टैक्सी लेकर मनाली पहुँचे, वहाँ दो दिन होटल में रूके, 9 नवम्बर को शाम को करीब 5- 6 बजे चंडीगढ़ पहुँचे वहाँ होटल कमल पैलेस सेक्टर 22ए चडीगढ़ में रूके। जहाँ से रात करीब 8 बजे पुलिस ने इन्हें पकड़ लिया,
1- मनीष कुमार पुलिस निरीक्षक सीएसटी आयुक्तालय जयपुर।
2- रविन्द्र प्रताप सिंह पुलिस निरीक्षक जेडीए ।
3- सुनिल जांगिड़ पुलिस निरीक्षक जेडीए।
4- राकेश कुमार पुलिस निरीक्षक स्पेशल सेल दिल्ली पुलिस।
सहयोगी के रूप में भूमिका
1. हरियाणा पुलिस।
2. दिल्ली पुलिस।